सामान्य हिन्दी : वाक्यांशों के लिए एक शब्द
वाक्यांशों के लिए एक शब्द- A word for phrases
संचार क्रांति के युग में समय कम होने के साथ-साथ पारस्परिक सम्प्रेषण में भी कमी आई है। अतः सामाजिक से लेकर राजनैतिक, व्यावसायिक से लेकर व्यापारिक, राष्ट्रीय से लेकर अंतरराष्ट्रीय क्षेत्र में संक्षिप्त और सारगर्भित वार्ता को प्रासंगिक माना जा रहा है।
भाषा अपनी विकास यात्रा में क्रमशः ऐसे शब्दों और मुहावरों निर्माण की ओर उन्मुख होती है, जो अनेक शब्दों के स्थान पर प्रयुक्त होते हैं तथा अर्थ के दबाव को अधिकाधिक वहन कर सकते | भाषा मूल संकेत है, इसलिए वह संकेत को अधिक से अधिक सूक्ष्म बनाती जाती है। विश्व की समृद्ध भाषाओं की यही प्रवृत्ति रही 1 भाषा की सुदृढ़ता, भावों की गम्भीरता और चुस्त शैली के लिए यह आवश्यक है कि लेखक शब्दों (पदों) के प्रयोग में संयम से काम ले, ताकि वह विस्तृत विचारों या भावों को थोड़े-से-थोड़े शब्दों में व्यक्त कर सके। ‘गागर में सागर भरना’ कहावत यही चरितार्थ करती है। समास, तद्धित और कृदन्त वाक्यांश या वाक्य एक शब्द या पद के रूप में संक्षिप्त किये जा सकते हैं। ऐसी स्थिति में मूल वाक्यांश या वाक्य के शब्दों के अनुसार ही एक शब्द या पद का निर्माण होना चाहिए। दूसरी बात यह कि वाक्यांश को संक्षेप में सामासिक पद का भी रूप दिया जाता है। कुछ ऐसे लाक्षणिक पद या शब्द भी हैं, जो अपने में पूरे एक वाक्य या वाक्यांश का अर्थ रखते हैं।
संस्कृत भाषा ऐसे शब्दों की धनी रही है, जो एक वाक्य या वाक्यांश के बदले आ सकते हैं। हिन्दी ने इस प्रकार के अधिकांश शब्द संस्कृत से ही प्राप्त किये हैं।
वाक्यांश के लिए एक शब्द तालिका:
वाक्य खण्ड | एक शब्द |
जो कुछ न कहे/जो कहा न जा सके | अकथ्य |
जिसमें काँटा या विघ्न-बाधा न हो | अकंटक |
जो कहा न जा सके | अकथनीय |
जो कहा न गया हो | अकथित |
जो घबराने वाला न हो | अकातर |
वह सेना जिसमें बहुत से हाथी, घोड़े, रथ और पैदल सिपाही हों | अक्षौहिणी |
जो तर्क से सिद्ध न हो | अतर्क्स |
अत्यन्त सूक्ष्म या छोटा होने की शक्ति प्राप्त होना | अणिमा |
जैनों का सूर्यास्त से पहले होने वाला भोजन | अथऊ |
पश्चिम दिशा जिसमें सूर्य अस्त होता है। | अथमना |
वह जिसने किसी से ऋण लिया हो | अधमर्ण |
वह वस्तु जिस पर अधिकार जताया जाय | अध्यर्थ |
जिसकी कीमत कम हो | अनर्घ्य |
जो वश में न हुआ हो | अनायत |
ऐसी प्रशंसा जिससे निंदा का भाव निकले | अपस्तुति |
जिसे मारना उचित न हो/जिसे कोई मार न सके | अबध्य/अघन्या |
वह बात या भाव जिसे प्रकट करने की इच्छा हो | अभिप्रेत |
निष्फल न होने वाला | अमोघ |
किसी के गुण को भी अवगुण समझना | असूया |
सबसे आगे रहने वाला | अग्रणी |
जिसको न जीता जा सके | अजेय |
जिसके बारे में कोई निश्चय न हो | अनिश्चित |
जो अपने स्थान या स्थिति से अलग न किया जा सके / जो कभी च्युत न हुआ हो | अच्युत |
जो अपनी बात से टले नहीं | अटल |
जिसे करना आवश्यक हो | अनिवार्य |
जो अनुग्रह (कृपा) से युक्त हो | अनुगृहीत |
पीछे-पीछे चलने वाला | अनुगामी |
जो कुछ नहीं जानता हो | अज्ञ / अज्ञानी 315 |
जो धन को व्यर्थ ही खर्च करता हो | अपव्ययी |
जो किसी पर अभियोग लगाए | अभियोगी |
जो कम जानता हो | अल्पज्ञ |
जो विधि या कानून के विरुद्ध हो | अवैध / गैर-कानूनी |
जिसका चिंतन न किया जा सके | अचिंतनीय / अचिंत्य |
जिसका उत्तर नहीं दिया गया हो | अनुत्तरित |
वह स्त्री जिसका पति दूसरा विवाह कर ले | अध्यूदा |
जिसे बुलाया न गया हो | अनाहूत |
परम्परा से चली आई हुई बात या कथा | अनुश्रुति |
एक-एक अक्षर तक | अक्षरशः |
जिस पर अभियोग लगाया गया हो | अभियुक्त |
जिसमें कुछ करने की क्षमता न हो | अक्षम |
परम्परा से चली आई हुई बात या कथा | अर्थगर्भित |
जिसकी गिनती न हो सके | अनगिनत |
जो शुद्ध न हो | अशुद्ध |
जिसे पढ़ा न जा सके | अपठ्य |
जो कम खाता हो | अल्पाहारी |
जिसकी तुलना नहीं है | अतुलनीय |
जिसकी दादी-मूँछ नहीं निकली हो | अजातस्मश्र |
मृतक की अन्तिम क्रिया | अन्त्येष्टि / श्राद्ध |
जो परीक्षा में उत्तीर्ण न हो | अनुत्तीर्ण |
जिसकी संख्या न हो सके | असंख्य |
जो नष्ट न हो सके | अनश्वर |
जिस पेड़ के पत्ते झड़ गये हों | अपर्ण/अपत |
अल्प वेतन भोगने वाला | अल्पवेतनभोगी |
जहाँ जाया न जा सके | अगम्य |
अग्र (आगे) की बात सोचने वाला | अग्रसोची |
अध्ययन प्राप्त कराने वाला | अध्यापक |
जिसका दूसरा उपाय नहीं है | अनन्योपाय |
जिसकी आशा न की जाय | अप्रत्याशित |
जिसकी उपमा नहीं हो | अनुपम |
जिसकी कल्पना न की जा सके अ | अकल्पनीय / कल्पनातीत |
जिस हँसी से अट्टालिका तक हिल सके | अट्टहास |
जिसकी सीमा न हो | असीम |
कभी नहीं मरने वाला | अमर |
दोपहर के बाद का समय | अपराह्न |
बिना पलक गिराये या बिना पलक झपके | एकटक |
जिसके माता-पिता नहीं हैं | अनाथ |
वह यंत्र जो छोटी चीज को बड़ा दिखाता है | अणुवीक्षण |
कई व्यक्तियों में एक | अन्यतम |
काल से पहले आने वाली मृत्यु | अकालमृत्यु |
कहीं आसक्त न रहने वाला | अनासक्त |
ज्यों का त्यों | अविकल |
जिस कल्पित पर्वत के पीछे सूर्य अस्त होता है। | अस्ताचल |
जिसके समान दूसरा नहीं है | अद्वितीय |
जिसके पास कुछ भी नहीं हो | अकिंचन |
जिसके कुल का पता न हो | अज्ञातकुल |
जिसके आने की तिथि मालूम न हो | अतिथि |
जिसमें शक्ति नहीं है | अशक्त |
जिसमें सामर्थ्य नहीं है | असमर्थ |
अहंकारपूर्वक अपने को सबसे बढ़कर समझना | अहंमन्यता |
जिसमें किसी का कोई हेतु (कारण) न हो | अहैतुक |
जिसमें शक्ति नहीं है | असमर्थ |
जिसमें सामर्थ्य नहीं है | अशक्त |
अहंकारपूर्वक अपने को सबसे बढ़कर समझना | अहंमन्यता |
जिसमें किसी का कोई हेतु (कारण) न हो | अहैतुक |
जिसका जन्म पहले हुआ हो | अग्रज |
जिसका जन्म पीछे हुआ हो | अनुज |
जिसका मन कहीं और हो | अन्यमनस्क |
जिसका शत्रु जन्मा तक न हो | अजातशत्रु |
जिसे कभी भेदा न जा सके | अमेद्य |
अत्यधिक वर्षा होना | अतिवृष्टि |
कनिष्ठा एवं मध्यमा के बीच की उँगली | अनामिक |
आत्मा और परमात्मा का द्वैव-भाव न मानने वाला नही हैं अथवा जिसका जोड़ नही है। | अद्वैतवाद |
जो साधा न जा सके या ठीक न किया जा सके | अनन |
जो वचन प्रकट करने योग्य न हो | असाथ |
जो समय के अनुकूल न हो | अनिवर्चनीय |
जिसके समान कोई दूसरा भक्त न हो | असामयिक |
जो शोक करने योग्य नहीं है | अनन्यमत |
जो बिना वेतन के काम करता है। | अशोवद |
जो स्त्री अभिनय करती है | अवैतनिक |
जो पुरुष अभिनय करता है | अभिनेत्री |
जो स्त्री सूर्य को भी न देख सके | असूर्यपश्य |
जो जन्म नहीं लेता है | अज /अजन्म |
जो जन्म नहीं लेती | अग |
जो नहीं हो सकता है | असम्भव |
जो कार्य अवश्य होने वाला है। | अवश्यम्मादी |
जो चलता नहीं | अचल |
जो अल्प बोलता है | अल्पभाष |
जो मापा न जा सके | अप्रमेय |
जो खाने योग्य नहीं हो | अखाद्य |
जो नहीं आता हो | अनागत |
जो पहले कभी नहीं हुआ | अश्रुतपूर्व |
जो पहले कभी नहीं सुना गया | अदृष्टपूर्व |
जो पहले कभी नहीं देखा गया | अदृश्य |
जो देखा नहीं जा सकता है | अत्युक्ति |
बढ़ा-चढ़ाकर कही गयी उक्ति (बात) | अलौकिक |
जो इस लोक में सम्भव नहीं है। | अनुकरणीय |
जो अनुकरण करने योग्य है जो सबसे आगे गिनाने योग्य हो | अग्रगण्य |
जिसके पार न देखा जा सके | अपारदर्श |
जो ईश्वर में विश्वास करता है। | आस्तिक |
अचानक घटित होने वाला | आकस्मिक |
आकाश को चूमने वाला | आकाशचुम्बी |
जहाजों को रात्रि में मार्ग दिखाने वाला प्रकाश स्तम्भ | आकाशदीप |
जिसे शास्त्र का ज्ञान न हो | आगमरहित |
वह जिसकी अब कामनाएँ पूर्ण हो चुकी हों | आप्तकाम |
जो पहले कभी नहीं हुआ | आवेष्टन |
वह जो किसी के बन्धन का कारण हो | आश्रव |
जो आया हो | आगत |
अतिथि की सेवा करने वाला | आतिथेयी |
जो अपनी हत्या करता है | आत्मघाती |
अग्नि से उत्पन्न, अग्नि-सा या अग्नि से सम्बद्ध | आग्नेय |
अपने ऊपर निर्भर रहने वाला | आत्मनिर्भर |
अपने आप को किसी के हाथ समर्पित करना | आत्मसमर्पण |
जीवन भर | आजीवन |
तत्काल कविता रचने वाला | आशुकवि |
किसी वस्तु को आधुनिक रूप देने की क्रिया | आधुनिकीकरण |
आत्मा और ईश्वर से सम्बन्ध रखने वाला | आध्यात्मिक |
जो किसी वंश में बराबर चलता आया हो | आनुवंशिक |
मरते दम तक | आमरण |
आभार मानने वाला | आमारी |
अर्थ (धन) से सम्बन्ध रखने वाला | आर्थिक |
जिसे विश्वास दिलाया गया हो | आश्वस्त |
जिसकी बाँहें जानु (घुटने) तक पहुँचती हों | आजानुबाहु |
आलोचना करने वाला | आलोचक |
वह स्त्री जिसका पति परदेश से आ गया हो | आगतपतिका |
सेतुबन्ध से हिमालय पर्वत तक | आसेतुहिमालय |
बालक से वृद्ध तक सभी | आशातीत |
आशा से अतीत | आरती |
देवता को दिखाया जाने वाला दीपक | आमंत्रित |
जो किसी के निमंत्रण पर आया हो | आपादमस्तक |
पाद से मस्तक तक | आर्षवचन |
ऋषि का कहा हुआ वचन | आक्रांत |
वह जिस पर हमला किया गया हो | आद्योपांत |
आदि से अन्त तक | आद्यंत |
आदि और अन्त | आरती |
जो अंग से उत्पन्न हो | अंगज |
हाथ जोड़कर प्रणाम की मुद्रा | अंजलिबद्ध |
जो अण्डा से जन्म लेता है। | अण्डज |
अंक (गोद) में सोने वाला / वाली | अंकशायी |
किसी देश के अन्दर सम्बन्ध रखने वाला | अन्तर्देशीय |
बिना तर्क के माना गया विश्वास | अन्धविश्वास |
एक कथा या निबन्ध के बीच आने वाली कहानी | अंतःकथा |
दो घटनाओं या कालों के बीच | अंतःकालीन |
अन्त या नाश करने वाला | अंतक |
‘दो अलग कालों या समयों के बीच का | अन्तरिम |
गुरु के निकट रहने वाला विद्यार्थी | अन्तेवासी |
जो सबके मन की बात जानता हो | अन्तर्यामी |
जो किसी सम्पत्ति आदि में अंश का हकदार हो | अंशभाजन |
ताजिया रखने की जगह | इमामबाड़ा |
इन्द्रियों को वश में रखने वाला | इन्द्रियजित |
किसी बात की इच्छा रखने वाला | इच्छुक |
किन्हीं घटनाओं का कालक्रम से किया गया वृत्त | इतिवृत्त |
वाला विचार या उद्देश्य | ईप्सा |
पूरब और उत्तर के बीच की दिशा | ईशान |
किसी के खाने से बचा हुआ (जूठा ) | उच्छिष्ट |
जिससे ऊँचा कोई न हो | उच्चतम |
ऊपर आने वाला श्वास | उच्छ्वास |
ऊपर की ओर उछाला या फेंका हुआ | उत्क्षिप्त |
ऋण देने वाला व्यक्ति | उत्तमर्ण |
पर्वत के पास की भूमि / पर्वत के नीचे तलहटी की भूमि | उपत्यका |
वह सामग्री जिससे कोई पदार्थ बने | उपादान |
जिसने ऋण चुका दिया हो | उऋण |
जो धरती फोड़कर जन्मता है | उद्भिज |
जिसमें खूब उपज होती हो | उर्वर / उपजाऊ |
जिस कल्पित पर्वत से सूर्य का उदय होता है | उदयाचल |
दूसरों का उपकार करने वाला | उपकारी |
जिसकी उपासना की जाती है। | उपास्य |
जो उपासना करता है | उपासक |
उर (छाती) के बल चलने वाला | उरग |
जो ऊपर कहा गया हो | उपर्युक्त |
जिस जमीन में उत्पन्न करने की शक्ति है | उर्वरा |
जिसका मन उदार हो | उदारमना |
जिसकी उपमा दी जा सके | उपमेय |
जिससे उपमा दी जाय | उपमान |
जो उद्धार करता है | उद्धारक |
ऊपर की ओर जाने वाला | ऊर्ध्वगामी |
जिस भूमि में कुछ उत्पन्न न होता हो | ऊसर |
सूर्योदय के पहले का समय | ऊषाकाल |
जिसका चित्त एक विषय में लगा हो | एकाग्रचित्त |
जो दिन में एक बार भोजन करता है | एकाहारी/एकभुक्त |
जिस पर दूसरे का अधिकार न हो | एकाधिकार |
जो इच्छा के अधीन है | ऐच्छिक / इच्छाधीन |
जो इतिहास से सम्बन्ध रखता है। | ऐतिहासिक |
उपचार या ऊपरी दिखावे के रूप में होने वाला | औपचारिक |
जिसका सम्बन्ध उपनिवेश से है। | औपनिवेशिक |
जिसका सम्बन्ध उपन्यास से है। | औपन्यासिक |
पूर्वजन्म में किए हुए कर्मों का फल | करमोरू |
वो कर्तव्य से च्युत हो गया है। | कर्मविपाक |
जो कहने योग्य है। | कथ्य / कथनीय |
कर्म में बाधा डालने वाला | कर्मोपघात |
जा कहा गया है। | कथित |
पुरुष कविता लिखता है | कर्तव्यच्युत |
को स्त्री कविता लिखती है | कवयित्री |
जो कष्ट सहन कर सके | कष्टसहिष्णु |
जो कानों को सुनने में कटु लगे | कर्णकटु |
कान के नीचे लटकता हुआ भाग | कर्णपाली |
जो कल्पना से परे (अतीत) हो | कल्पनातीत |
जहाँ मुर्दे गाड़े जाते हैं | कब्रगाह / समाधिमूमि |
कष्ट से साध्य होने वाला | कष्टसाध्य |
कुछ समय के लिए नियुक्त अधिकारी | कार्यवाहक |
जो पुरुष कायर या कुत्सित है | कापुरुष |
किसी वस्तु को देखने की बलवती इच्छा | कौतूहल |
कुश के अग्र के समान तीक्ष्ण बुद्धि वाला | कुशाग्रबुद्धि |
कुरकुर शब्द करता हुआ चलने वाला | कुरंग |
केवल पेट भरने वाला | कुक्षिमर |
धन देने वाला देवता या व्यक्ति | कुबेर / धनद |
कुन्ती का पुत्र | कौन्तेय |
जिसकी अब कीर्ति शेष रह गयी हो | कीर्ति शेष |
क्रम के अनुसार | क्रमानुसार |
जो यह समझ नहीं पाये कि क्या करे, क्या न करे | किंकर्तव्यविमूढ़ |
जिसे खरीद / मोल लिया गया हो | क्रीत |
जिसे बाहरी जगत का ज्ञान न हो | कूपमण्डूक |
जिसका जन्म उच्च कुल में हुआ हो / जिस लड़की का विवाह न हुआ हो | कुमारी कुलांगार |
अपने ही कुल का नाश करने वाला व्यक्ति | कीर्ति शेष |
जो अच्छे कुल में उत्पन्न हुआ हो जो किये हुए उपकार को नहीं मानता है। | कुलीन / अभिन |
जिसका कार्य सिद्ध हो चुका हो | कृतकृत्य |
कार्य सम्पन्न होने पर जो अत्यन्त प्रसन्न हो | कृतकार्य |
जो सब शास्त्र पढ़ चुका हो | कृतागम |
जो अपने उद्देश्य सिद्ध होने पर संतुष्ट हो | कृतज्ञ |
करने योग्य व न करने योग्य कर्म | कृत्याकृत्य |
जो किये हुए उपकार को मानता है | कृतज्ञ‘ |
काँटों से भरा हुआ | कंटकाकीर्य |
जिसके सिर पर बाल न उगे | गंजा |
जिसके घरबार न हो | खानाबदोश / बेघरबार |
जो हमेशा खड्ग हाथ में लिये रहता है | खड्गहस्त |
जो खाने योग्य हो | खाद्य |
खेलने वाला | खिलाड़ी |
जो नभ में चलता है | खेचर |
गांडीव को धारण करने वाला | गांडीवधारी |
जो इन्द्रियों के ज्ञान से परे हो | गोतीय/इन्द्रियातीत |
जो देर से या कठिनता से पचे | गरिष्ठ |
गृह बसाकर रहने वाला | गृहस्व |
हाथी के समान मंद गति से चलने वाली स्त्री | गजगामिनी |
जिसके पेट में बच्चा हो | गर्भवती/गर्भिणी |
गगन को चूमने वाला | गगनचुम्बी |
गंगा का पुत्र | गांगेय |
रात और संध्या के बीच की बेला | गोधूलि |
गायों को पालने और रखने का स्थान | गोशाला |
ग्राम में रहने वाला अथवा ग्राम से सम्बद्ध | ग्रामीण |
वह काव्य-ग्रंथ जिसमें गाने योग्य गीत हों | गीतिकाव्य |
वह रूपक जिसमें गद्य कम और पद्य अधिक हो | गीतिरूपक |
जिसके अंग-प्रत्यंग गल गये हों | गलितांग |
पंजाबी भाषा की लिपि | गुरुमुखी |
जो गाने योग्य हो | मेय |
गुरु की हत्या करने वाला मनुष्य | गुरुन |
स्वयं गुरु बनकर दूसरों से अपनी पूजा कराना | गुरुडम |
बादल के समान श्याम | घनश्याम |
घास खोदकर जीवन निर्वाह करने वाला | घसियारा |
घूस लेने वाला | घूसखोर |
जिसके चूड़ा (बालों) में चन्द्रमा है | चन्द्रचूड़ |
जिसके सिर पर चन्द्रमा हो | चन्द्रशेखर |
जिस पर चिह्न लगाया गया हो | चिह्नित |
जो चर्चा का विषय हो | चर्चित |
जिसकी चार भुजाएँ हों | चतुर्भुज |
करने की इच्छा | चिकीर्षा |
चित्त को चुराने वाले | चितचोर |
जिसका जन्म जल में हुआ हो | जलज (कमल) |
जो जन्म से ही अन्धा है | जन्मांध |
जन्म से सौ वर्ष का समय | जन्म शती |
इन्द्रियों को जीतने वाला | जितेन्द्रिय |
जठर (पेट) की अग्नि | जठराग्नि |
जान से मारने की इच्छा | जिघांसा |
जीतने की इच्छा | जिगीष |
जानने की इच्छा | जिज्ञासा |
जो जल में चलने-फिरने वाला हो | जलचर |
अधिक समय तक जीते रहने को इच्छुक | जिजीविषु |
जो जरायु (गर्भ की थैली) से जन्म लेता है | जरायुज |
जो जानना चाहता है | जिज्ञासु |
जो यान जल में चलता है | जलयान |
चारों ओर जल से घिरा हुआ भू-भाग | टापू |
किसी ग्रन्थ या रचना का टीका करने वाला | टीकाकार |
‘अधिक समय तक जिन्दा रहने / जीने की इच्छा | जिजीविषा |
जिसके पास अपार धन-सम्पत्ति हो | टकैत |
वह साधना जिसके द्वारा तत्व ज्ञान प्राप्त हो | तत्वबोधिनी |
विवाद या गुटबाजी से अलग रहने वाला | तटस्थ |
जिसका तेज नष्ट हो गया हो | श्रीहत |
वेगपूर्वक गमन करने वाला | तुरंग |
तुलना करने योग्य | तुलनीय |
तैरने की इच्छा | तितीर्षा |
जो तर्कशास्त्र जानता हो | तार्किक / तर्कशास्त्री |
वह पुत्र जो शास्त्र या विधि द्वारा अपनाया गया हो | दत्तक |
जिसे अभय दान या सहारा दिया गया हो | दत्तहस्त |
जिसे पकड़ना कठिन हो | दुर्द्धर |
पहले या एक बार कही हुई बात फिर से कहना | द्विरुक्ति |
जिसे कठिनाई से जाना जा सके | दुर्ज्ञेय |
जो देने योग्य है | देय |
हिन्दी की लिपि | देवनागरी |
जिसके (कृष्ण) पेट में माँ ने रस्सी बाँध दी थी | दामोदर |
दाव (जंगल) की अग्नि | दावाग्नि / दावानल |
जो कठिनाई से समझ में आता है। जो शीघ्र समझ में न आये | दुर्बोध |
पुत्री का पुत्र | दौहित्र |
पुत्री की पुत्री | दौहित्री |
दिन के बाद दिन | दिनानुदिन |
दो पदों (पैरों) वाला | द्विपद |
जिस स्त्री का भाग्य खराब हो | दुर्भगा |
जिसका जन्म द्वीप में हुआ हो | द्वैपायन |
देखने की इच्छा | दिदृक्षा |
देने की इच्छा | दित्सा |
दूर तक देखने वाला | दूरदर्शी |
दो वेदों को जानने वाला | द्विवेदी |
जो दमन योग्य हो | दमनीय |
जिसको लाँघना कठिन हो | दुर्लय |
दुष्ट उद्देश्य से की जाने वाली साजिश या मंत्रणा | दुरभिसन्धि |
जो देखने वाला है। | दर्शक |
जो केवल दूध पीता हो / जिसका आहार केवल दूध हो | दुग्धाहारी |
जिसे कठिनाई से भेदा जा सके | ‘दुर्लभ |
जिसका दमन कठिन हो | दुर्दम्य |
जिस समय मुश्किल से भिक्षा मिलती है। | दुर्भिक्ष |
जिसने किसी विषय में चित्त लगा दिया है। | दत्तचित्त |
जिसके दस आनन हों | दशानन (रावण) |
जो कठिनाई से पचता है | दुष्पाच्य |
जो बड़े कष्ट से निवारित किया जा सके | दुर्निवार |
जो द्वार की रक्षा करता है | द्वारपाल |
जिसे वश में करना कठिन हो | दुर्धर्ष |
जो विलम्ब से काम करे | दीर्घसूत्री |
जो आसानी से उपलब्ध न हो | दुर्लम |
तेज गति चलने वाला | द्रुतगामी |
वह यंत्र जिससे दूर की चीज पास नजर आये | दूरबीन |
बुरा आचरण करने वाला | कदाचारी |
जिसके चित्त में दृढ़ निश्चय हो | दृढनिश्चयी |
दशरथ का पुत्र | दाशरथि |
जो कठिनाई से साधा जा सके | दुस्साध्य |
दो बार जन्म लेने वाला | द्विज |
जो देखने योग्य है | दृष्टव्य/दर्शनीय |
अनुचित बात के लिए आग्रह | दुराग्रह |
अपने धर्म से गिरा हुआ | धर्मच्युत |
जो धर्माचरण करता है | धर्मात्मा |
दौड़ने वाला | धावक |
धनुष धारण करने वाला | धनुर्धर |
किसी के पास रखी हुई दूसरे की वस्तु | अमानत |
जो धीरज धारण करता है। | धैर्यवान |
श्रेष्ठ गुणों से सम्पन्न शूरवीर नायक | धीरोदात्त |
शूरवीर किन्तु अभिमानी नायक | धीरोद्धत |
ध्यान देने योग्य | ध्यातव्य |
वह गाँव शहर जहाँ नाना-नानी का घर हो | ननिहाल |
ऋण न चुकाने वाला | नादिहंद |
जिसके शरीर पर आघात न लगे | नासेतुद |
जो बड़ों का आदर करना न जानता हो | निरीस |
जिसका कोई उद्देश्य न हो | निरुद्देश्य |
जिसके हाथ में कोई उद्यम या काम न हो | निरुद्यम |
जिसके मन में मत्सर या ईर्ष्या न हो | निर्मत्सर |
जिसके अवयव न हो | निरवयव |
जिस काम के लिए धन न दिया जाय | निःशुल्क |
जिसके संतान न हो | निःसंतान |
जिसको कोई इच्छा (स्पृहा ) न हो | निःस्पृह |
अर्द्धरात्रि का समय | निशीथ |
रंगमंच पर पर्दे के पीछे का स्थान | नेपथ्य |
आजीवन ब्रह्मचर्य का व्रत लेने वाला | नैष्ठिक |
जिसका उदय हाल में हुआ हो | नवोदित |
जिसकी कोई अवधि निश्चित न हो | निरावधि |
जिसमें हानि या अनर्थ का डर न हो | निरापद |
जिसमें जीव अर्थात् जीवन न हो | निर्जीव |
जहाँ एक भी मनुष्य न हो | निर्जन |
नयी ब्याही वधू/जिस स्त्री का विवाह अभी हुआ हो | नववधू/नवोदा |
जिसका उत्साह नष्ट हो गया हो | निरुत्साह |
जो नीति का विशेष ज्ञाता हो | नीतिज्ञ |
जिसको कहीं आश्रय नहीं हो | निराश्रय |
जिसको लज्जा नहीं हो | निर्लज्ज |
जिसका कण्ठ नीला हो | नीलकण्ठ |
जिसका कोई सहायक न हो | निस्सहाय |
जिसने कुछ खाया-पीया न हो | निराहार |
जो इन्द्रियरहित हो | निरिन्द्रिय |
जिसमें कोई विवाद न हो | निर्विवाद |
जिसकी कोई कामना न हो | निष्काम |
जो बिना किसी विरोध के चुना गया हो | निर्विरोध |
जिसका कोई उपाय नहीं है | निरुपाय |
जिसका मूल नहीं है। | निर्मूत |
जो मांस नहीं खाता है। | निरामिष |
जो बहुत बड़ा नहीं है | नातिदीर्थ |
जो बहुत छोटा नहीं है | नातिलघु |
जो तुरन्त जन्मा हो | नवजात |
जो नया आया हुआ हो | नवागत/ नवागंतुक |
जो पढ़ना-लिखना नहीं जानता है | निरक्षर |
जो न्याय जानता है | नैयायिक/न्यायविद् |
जो ईश्वर में विश्वास नहीं रखता है। | नातिक |
नीली है आभा जिसकी | नीलाम |
जिसका अर्थ न हो | निरर्थक |
जो नृत्य करता है। | नर्तक |
जो नष्ट होने वाला है। | नश्वर |
जो पढ़ना-लिखना नहीं जानता है। | निरक्षर |
जो न्याय जानता है। | नैयायिक/न्यायविद् |
जो ईश्वर में विश्वास नहीं रखता है। | नास्तिक |
नीली है आभा जिसकी | नीलाम |
जिसका अर्थ न हो | निरर्थक |
जो नृत्य करता है। | नर्तक |
जो नष्ट होने वाला है। | नश्वर |
जो आकाश में विचरण करता हो | नमचर / खेचर / खर |
नदी से सींचा जाने वाला प्रदेश | नदीमातृक |
निद्रा पर विजय पाने वाला | निद्राजवी |
जिस स्थान पर अभिनेता अपना श्रृंगार करते हैं | नेपथ्य |
जिसके हृदय में दया नहीं है | निर्दय |
जिसमें तेज नहीं है। | निस्तेज |
जिसमें मल न हो | निर्मल |
जिसमें पाप नहीं हो | निष्याप |
एक देश से दूसरे देश में वस्तु भेजना | निर्यात |
पापों में डूबा हुआ | पापनिमज्जित |
जिसका बदला दिया जा चुका हो | प्रतिकृत |
मनुष्य की साधारण (प्रकृत रूप से) मृत्यु | प्रमीति |
पति को चुनने की इच्छावाली कन्या | पतिम्बरा |
उपाय / मार्ग बताने वाला | पथ-प्रदर्शक/मार्गदर्शक |
जो पदों (काव्य) के रूप में हो | पद्म |
परपुरुष से प्रेम करने वाली | परकीया |
जो दूसरे का श्री-सौभाग्य देखकर दुखी होता है | परश्रीकातर |
जो इतिहास के पहले का है | प्रागैतिहासिक |
जो स्त्री प्रिय बोलती है। | प्रियंवदा |
जो किसी के बदले में बोलता या कुछ करता है | प्रतिनिधि |